परहित सरस धरम नाहि भाई
वर्ल्ड कप 2008 में भारतीय टीम बांग्लादेश से हारकर बाहर हो गई जिसे काफी शर्मनाक बताया जा रहा है । इससे शर्म की क्या बात है भारत बांग्लादेश का जनक है अत: बांग्लादेश को एहसानमंद होने के नाते उसे स्वयं हार जाना चाहिए परंतु वह एहसान फरामोश साबित हुआ। शर्म के काबिल वह है भारत नहीं। दूसरे मैच में टीम इंडिया ने बरमुडा त्रिकोण को पार कर इतिहास रच दिया विदित है आज तक किसी ने बरमुडा त्रिकोण पार नहीं किया। तीसरे मैच में टीम इंडिया का मुकाबला श्री लंकाई शेरों से था अब शेर का मुकाबला (बंगाल) टाइगर कैसे करें सो जीते शेरों की ही हुई। कई लोग यह भी आरोप लगाते है कि टीेम इंडिया विदेशों से श्रुंखला हार कर लौटी है। अरे ये तो टीम इंडिया का बडप्पन है जिसे देश में जाते हैं उनका नमक खाते हैं और नमक का कर्ज चुकमा कर चले आते हैं। हमें फख्र है वो नमक हराम नहीं है। इसके विपरित विदेशी टीमें इंडिया आती हैं। हमारा नमक खाती हैं हमें ही हरा कर चली जाती है। सबसे ज्यादा नमक हराम आस्ट्रेलिया है। वैसे भी विदेशी टीमें हमारी अतिथि होती हैं। भारतीय धर्म है अतिथि देवो:भव। उन्हें हराना हमारे धर्म के खिलाफ है।
हमारे देश के क्रिकेटर बहुमुखी प्रतिभा के धनी हैं। क्रिकेटर के साथ-साथ वे अच्छे मॉडल भी हैं। अक्सर विज्ञापनों में मॉडलिंग करते रहते हैं। उनमें आपस में होड़ लगी रहती है कि कौन कीतनी ज्यादा मॉडलिंग कर पता है।इन सबके अलावा वे अच्छे सामाजिक कार्यकर्ता व समाज सुधारक भी है। सचिन तेंदूलकर हमें कोक व पेप्सी पीने की सलाह देते हैं जो स्वास्थय के लिए लाभ दायक है। इसे जितना भी पीजीए कम है क्योकिं ये दिल मांगे मोर।
सौरव गांगुली का कहना है कि सोना चांदी च्वनप्राश खाकर हम बंगाल टाइगर जैसा बन सकते हैं। विरेन्द्र सहवाग हमें कपड़ा पहनना सिखाते हैं मयूर शुटींग पहनेंगे तभी लडकियाँ हमारी तरफ देखेंगी। महेन्द्र सिंह धोनी युवाओं के रोल मॉडल बन गए हैं सभी लड़के उनकी हेयर स्टाइल अपना रहे हैं ऐसे युवाओं को लड़कियाँ काफी पसंद कर रही हैं। उनकी पसंद बाद में प्यार में बदल जाती है। इस तरह से युवाओं में प्रेम, मोहब्बत जैसी भावनाओं को बढ़ाने का श्रेय धोनी को जाता है इसलिए युवा वर्ग को धोनी का आभारी होना चाहिए।कुछ असामाजिक लोग जिन्हें भारतीय क्रिकेट प्रेमी कहा जाता है बेवफा हो गए हैं और क्रिकटरों के पोस्टर और पुतले जला रहे हैं। कुछ लोग तो उनकी अर्थी निकाल कर उन्हें फना कर देना चाहतजे हैं। इसमें घबराने की जरूरत नहीं है। मनमोहन सिंह, सोनिया गांधी अडवाणी जी, लालु प्रसाद यादव के पोस्टर रोज जलाएं जाते हैं उन्हें कोई फर्क पड़ता है? नहीं क्योंकि वे जानते हैं वे महान है इससे उन्हें मुफ्त में पब्लिसिटी मिल जाती है।
टीम इंडिया भले ही मैच हार गई लेकिन उसने बांग्लादेश के करोड़ो लोगों का दिल जीता। सारे श्रीलंका वासीयों का दिल जीता। टीम इंडिया ने जता दिया कि वो स्वार्थी नहीं है दूसरे को आगे बढ़ने दिया, परहित का ध्यान रखा। टीम इंडिया महापुरूषों की टीम है। तुलसीदास ने भी कहा है,
परहित सरस धरम नाहि भाई
इसलिए हमें टीम इंडिया पर गर्व होना चाहिए। हे टीम इंडिया तुम्हें शत-शत बार प्रणाम।
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